Sunday, July 28, 2013

तुम न जाने किस जहाँ में खो गये

हम भरी दुनिया में तन्हा हो गये !

Uploaded on Mar 1, 2009
Movie: Sazaa (1951)
Producer: G P Sippy
Director: Fali Mistry
Cast: Dev Anand, Nimmi, K N Singh, Shayma, Mukri, Lalita Pawar.
Lyrics: Sahir Ludhianvi
Music: S D Burman
Singer: Lata Mangeshkar
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सन 1951 में आई थी हिंदी फिल्म सज़ा---निर्माता थे जी पी सिप्पी और निर्देशक थे--फाली मिस्त्री-----देव आनन्द, निम्मी, के एन सिंह, श्यामा, मुकरी और ललिता पवार जैसी जानीमानी स्टार कास्ट पर आधारित इस फिल्म के गीतकार थे हमारे लुधियाना के लोक प्रिय शायर साहिर लुधियानवी----बेहद सादगी से गहरी बातें कहने के फन में माहिर माने जाते थे---गीत के बोल इस गीत में भी जादू से भरे थे----और जब इन्हें मिला सुर सम्राज्ञी लता मंगेशकर की आवाज़ का साथ तो यह गीत भी कालजयी हो गया----इतने बरसों के बाद भी वही ताज़गी----वही कशिश---वही जादू:
तुम न जाने किस जहाँ में खो गये
हम भरी दुनिया में तनहा हो गये
तुम न जाने किस जहाँ में ...

एक जां और  लाख ग़म, घुट के रह जाये न दम
आओ तुम को देख लें, डूबती नज़रों से हम
लूट कर मेरा जहाँ छुप गये हो तुम कहाँ \- २
तुम कहाँ, तुम कहाँ, तुम कहाँ
तुम न जाने किस जहाँ में ...

मौत भी आती नहीं, रात भी जाती नहीं
दिल को ये क्या हो गया, कोई शह भाती नहीं
लूट कर मेरा जहाँ छुप गये हो तुम कहाँ \- २
तुम कहाँ, तुम कहाँ, तुम कहाँ
तुम न जाने किस जहाँ में ...


Monday, July 1, 2013

२७वाँ ग्रीष्म कालीन संगीत नाट्य शिविर

Mon, Jul 1, 2013 at 1:18 PM
डेढ माह के प्रशिक्षण मे ७५ प्रतिभागियॊं ने भाग लिया
नॄत्य संगीत प्रशिक्शण केन्द्र सिकन्दरा,आगरा २८२००७ तत्वाधान मे आयोजित २७वाँ ग्रीष्म कालीन संगीत नाट्य शिविर २०१३ का समापन कार्यक्रम एवं पुरुस्कार वितरण समारोह दिनांक ३०जून २०१३ अपरान्ह ३बजे "मानस भवन"नागरी प्रचारिणी सभागार (आगरा कालेज के सामने) एम०जी०रोड,आगरा पर समपन्न हुआ!
डा० कुसुम चतुर्वेदी संचालिका के कर कमलों द्वारा माँ सरस्वती को माल्यार्पण एवं दीप प्रज्ज्वलित कर हुआ ! डेढ माह के प्रशिक्षण मे ७५ प्रतिभागियॊं ने भाग लिया ,जिसमे शास्त्रीय गायन ,ढोलक , तबला, पेंन्टिग,नॄत्य का प्रशिक्छण दिया गया ! कौशिकी कौशिक वं सृष्टि गुप्ता ने सरस्वती वन्दना से कार्य्क्रम का प्रारंभ किया, बॄज लोक नॄत्य श्वेता भदौरिया,देवेन्द्र कौर, काकुल,एवं मीणा ने, कुमायूं नृत्य इतिशा,आर्ची गुप्ता ने,हर्षित पाठक और कपिल चन्देल ने मल्हार गायन राग काफ़ी मे, राग भीम पलासी श्रीमती अंकिता श्रीवास्तव ने,शिल्पी चतुर्वेदी ने "ओढ ली मैने चुनरिया "तथा तराना पर नॄत्य प्रस्तुत किया रितु अग्रवाल,रितिका श्रीवास्तव ने !कार्यक्रम का समापन गणेश वन्दना "गणपति बप्पा मोरियो"कपिल चन्देल, वाणी,स्रुष्टि,कंचन की प्रस्तुति के साथ हुआ! पुरस्कार वितरण डा०महेश भार्गव संचालक विभोर पब्लीकेशन आगरा के सौजन्य से हुआ मंच सज्जा- निर्मन्यु कस्तूरिया, व्यवस्था- श्री विपुल चतुर्वेदी ,संचालन कवि-साहित्य्कार श्री बोधिसत्व कस्तूरिया ,एड्वोकेट ने किया ! धन्यवाद एवं विद्द्यालय की वार्षिक आख्या, प्राचार्या श्रीमती मीरा कस्तूरिया ने प्रस्तुत की !   हास्य कवि हरेश चतुर्वेदी, संजय चतुर्वेदी, उमाशंकर मिश्र संस्कार भारती की उपस्थित उल्लेखनीय रही !